महर्षि दयानन्द के उपदेशों ने करोड़ों लोगों को नवजीवन, नव चेतना और नया दृष्टिकोण प्रदान किया है। उन्हें श्रद्धाञ्जलि अर्पित करते हुए हमें व्रत लेना चाहिए कि उनके बताये मार्ग पर चलकर हम देश को सुखी, शान्त और वैभवपूर्ण बनाएँगे।